Haryana Mid Day Meal: हरियाणा सरकार ने राजकीय प्राथमिक और उच्च प्राथमिक विद्यालयों में पढ़ने वाले बच्चों के लिए प्रधानमंत्री पोषण शक्ति निर्माण योजना के तहत मिलने वाले मिड डे मील (Mid Day Meal) में बड़ा और स्वागतयोग्य बदलाव किया है। शिक्षा विभाग ने 1 मई 2025 से नए सत्र के साथ ही मिड डे मील के मेन्यू में विविधता और पौष्टिकता बढ़ाने की दिशा में अहम कदम उठाया है। अब छात्रों को हर दिन सिर्फ दाल-चावल नहीं, बल्कि भरवा पराठा, वेज बिरयानी, कढ़ी-पकोड़ा, सोया खिचड़ी, राजमा चावल और मौसमी सब्ज़ियों जैसे 18 प्रकार के व्यंजन परोसे जाएंगे।
बच्चों के स्वास्थ्य और विकास को ध्यान में रखते हुए बना मेन्यू
शिक्षा विभाग की ओर से तैयार किए गए नए मिड डे मील मेन्यू का उद्देश्य बच्चों को पौष्टिक, संतुलित और विविध भोजन प्रदान करना है।
यह बदलाव बच्चों के शारीरिक और मानसिक विकास को ध्यान में रखते हुए किया गया है। खाने में दाल, अनाज, हरी सब्ज़ियां, रागी, गुड़ और दूध-दही जैसे पोषक तत्वों को शामिल किया गया है। विभाग ने यह भी सुनिश्चित किया है कि हर दिन का भोजन बच्चों को न सिर्फ पोषण दे, बल्कि स्वादिष्ट भी हो, जिससे बच्चों की रुचि भोजन में बनी रहे।
मिड डे मील प्रभारी होंगे जवाबदेह होगी गुणवत्ता की नियमित जांच
इस योजना को जमीनी स्तर पर प्रभावी बनाने की जिम्मेदारी मिड डे मील प्रभारी को दी गई है। विभाग के निर्देशों के अनुसार:
- हर महीने भोजन की लैब में जांच करवाई जाएगी।
- भोजन की गुणवत्ता, साफ-सफाई और पौष्टिकता सुनिश्चित की जाएगी।
- अगर कहीं लापरवाही पाई जाती है, तो संबंधित अधिकारी पर कार्रवाई की जाएगी।
यह कदम इसलिए भी जरूरी है क्योंकि भोजन की गुणवत्ता से छात्रों की सेहत सीधे तौर पर जुड़ी हुई होती है।
जानिए पूरा साप्ताहिक मेन्यू बच्चों के लिए दिन-ब-दिन क्या परोसा जाएगा
शिक्षा विभाग ने बच्चों के लिए मिड डे मील का महीनेभर का साप्ताहिक मेन्यू तैयार किया है। आइए इसे विस्तार से समझते हैं:
पहला सप्ताह:
| दिन | व्यंजन |
| वीरवार | चावल, कढ़ी-पकोड़ा |
| शुक्रवार | गुड़, रोटी, दही |
| शनिवार | भरवा पराठा, दही |
दूसरा सप्ताह:
| दिन | व्यंजन |
| सोमवार | पौष्टिक सोया खिचड़ी |
| मंगलवार | मीठी दलिया |
| बुधवार | चावल, सफेद छोले |
| वीरवार | चना दाल की खिचड़ी |
| शुक्रवार | मिस्सी पराठा |
तीसरा सप्ताह:
| दिन | व्यंजन |
| सोमवार | दाल-चावल |
| मंगलवार | रोटी, मूंग-मसूर दाल |
| बुधवार | मिस्सी रोटी, मौसमी सब्ज़ी |
| वीरवार | मीठे मूंगफली चावल |
| शुक्रवार | नमकीन दलिया |
| शनिवार | गेहूं-रागी का पूड़ा |
चौथा सप्ताह:
| दिन | व्यंजन |
| सोमवार | वेज बिरयानी, काले छोले |
| मंगलवार | रोटी, घीया-चने की दाल |
| बुधवार | राजमा-चावल |
| वीरवार | चावल, कढ़ी-पकोड़ा |
| शुक्रवार | गुड़, रोटी, दही |
| शनिवार | भरवा पराठा, दही |
पांचवां सप्ताह (यदि हो):
| दिन | व्यंजन |
| सोमवार | सोया खिचड़ी |
| मंगलवार | मीठी दलिया |
| बुधवार | चावल, सफेद छोले |
| वीरवार | चना दाल की खिचड़ी |
| शुक्रवार | मिस्सी पराठा |
| शनिवार | दाल-चावल |
बच्चों को मिलेगा संपूर्ण आहार बढ़ेगा स्कूल में उपस्थिति और ध्यान
मिड डे मील में इस तरह का बदलाव न केवल पोषण की गुणवत्ता को बेहतर बनाएगा, बल्कि इससे स्कूल में बच्चों की उपस्थिति और एकाग्रता पर भी सकारात्मक असर पड़ेगा।
शिक्षकों के अनुसार, बेहतर और स्वादिष्ट भोजन मिलने से बच्चे स्कूल आने के लिए ज्यादा प्रेरित होंगे और खाली पेट के कारण होने वाली परेशानी भी नहीं रहेगी।
शिक्षा व पोषण का बेहतर मेल अन्य राज्यों के लिए मिसाल
हरियाणा सरकार की यह पहल अन्य राज्यों के लिए भी प्रेरणा बन सकती है। मिड डे मील को सिर्फ एक खाना खिलाने की योजना नहीं, बल्कि बच्चों के संपूर्ण विकास और बेहतर शिक्षा का सहायक बनाना ही इसका मुख्य उद्देश्य है।
बच्चों को न सिर्फ पढ़ाई बल्कि पौष्टिक भोजन भी जरूरी
हरियाणा के सरकारी स्कूलों में मिड डे मील का यह नया मेन्यू बच्चों की सेहत और विकास के लिहाज से एक बड़ा सकारात्मक कदम है। यह योजना न केवल पोषण स्तर को सुधारने में मदद करेगी, बल्कि शिक्षा और स्वास्थ्य के बीच संतुलन बनाने का भी काम करेगी।